Friday, 30 June 2017

छत्तीसगढ़ ऋषि संस्कृति का प्रदेश: डॉ. रमन सिंह : मुख्यमंत्री शामिल हुए श्री मंगल मानस अनुष्ठान में

    रायपुर, 30 जून 2017


 
मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह आज शाम यहां इंडोर स्टेडियम में आयोजित त्रिदिवसीय श्री मंगलमानस अनुष्ठान के प्रथम दिवस के कार्यक्रम में शामिल हुए। उन्होंने साध्वी ऋतंभरा का प्रदेश की जनता की ओर से अभिनंदन करते हुए उनका प्रवचन सुना और उनसे प्रदेशवासियों की सुख-समृद्धि के लिए आशीर्वाद मांगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि साध्वी ऋतंभरा, नारी शक्ति जागृत करने के अपने राष्ट्रव्यापी अभियान का शुभारंभ छत्तीसगढ़ की पावन धरा से कर रही हैं। छत्तीसगढ़ ऋषि संस्कृति का प्रदेश है। साध्वी ऋतंभरा की पावन और ओजस्वी वाणी से छत्तीसगढ़वासियों को मार्गदर्शन मिलेगा। डॉ. सिंह ने वृंदावन में साध्वी ऋतंभरा द्वारा प्रारंभ वात्सल्य कुटुम्ब प्रकल्प का उल्लेख करते हुए कहा कि उनके द्वारा प्रारंभ किए गए इस प्रकल्प में अनाथ बच्चों, निराश्रितों और वृद्धजनों को आश्रय मिलता है। इस अवसर पर विधानसभा के अध्यक्ष श्री गौरीशंकर अग्रवाल, कृषि मंत्री श्री बृजमोहन अग्रवाल, पूर्व विधानसभा अध्यक्ष श्री धरमलाल कौशिक, राज्य वनौषधि बोर्ड के अध्यक्ष श्री रामप्रताप सिंह, छत्तीसगढ़ राज्य कृषि एवं बीज विकास निगम के अध्यक्ष श्री श्याम बैस, छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष श्रीमती हर्षिता पाण्डेय, छत्तीसगढ़ राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग की अध्यक्ष श्रीमती शताब्दी पाण्डेय, नगर निगम रायपुर के महापौर श्री प्रमोद दुबे, मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह की धर्मपत्नी श्रीमती वीणा सिंह, डॉ. अनिल जैन और श्री मंगलमानस अनुष्ठान आयोजन समिति के अध्यक्ष श्री रमेश मोदी सहित अनेक जनप्रतिनिधि और श्रद्धालु इस अवसर पर उपस्थित थे।

क्रमांक-1401/सोलंकी

 

जीएसटी देश के आर्थिक विकास की दिशा में क्रांतिकारी कदम: डॉ. रमन सिंह : मुख्यमंत्री ने जीएसटी के लिए प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी को दिया धन्यवाद

जीएसटी कानून में भागीदार बने सभी लोगों को दी बधाई
रायपुर, 30 जून 2017
मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने केन्द्र सरकार द्वारा कल एक जुलाई से देश भर में लागू जीएसटी कानून को देश के आर्थिक विकास और कर-सुधारों की दिशा में एक क्रांतिकारी कदम बताया है। उन्होंने कहा है कि पूरे देश के साथ-साथ छत्तीसगढ़ में भी जीएसटी लागू हो जाएगा। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में तीन साल पहले नए भारत के निर्माण का जो अभियान हुआ था, जीएसटी उसी का एक अहम हिस्सा है।
डॉ. रमन सिंह ने इसके लिए प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के प्रति आभार व्यक्त किया है। उन्होंने श्री मोदी के नेतृत्व में टैक्स सुधारों के इस बड़े बदलाव में भागीदार बन रहे सभी लोगों को बधाई दी है। मुख्यमंत्री ने आज कहा कि जीएसटी भारतीय संविधान और सहकारी संघवाद की भावना के अनुरूप है। कल एक जुलाई का दिन देश के इतिहास में एक क्रांतिकारी दिन होगा। भविष्य का सम्पन्न भारत जब अपने विकास की कहानी सुनाएगा, तब इस बड़े आर्थिक सुधार का भी वह गर्व के साथ उल्लेख करेगा। डॉ. रमन सिंह ने कहा - प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की पहल पर भारत में एक राष्ट्र, एक टैक्स और एक बाजार की  व्यवस्था लागू करने के लिए संसद के दोनों सदनों में जीएसटी कानून पारित हुआ। इससे देश भर में कर-सुधारों का नया दौर शुरू हुआ है।
मुख्यमंत्री ने कहा - केन्द्र द्वारा गठित जीएसटी परिषद में देश के सभी राज्यों को सदस्य के रूप में भागीदार बनाया गया है और कर राजस्व में भी राज्यों की भागीदारी बढ़ाई गई है। डॉ. रमन सिंह ने कहा - एक ही तरह की वस्तु के लिए अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग तरह के टैक्स लगते थे, जो अब जीएसटी के आने के बाद समाप्त हो जाएंगे। हर राज्य में एक जैसा टैक्स होने से वस्तुओं के दाम एक जैसे होंगे और राज्यों की सीमाओं के आर-पार व्यापार-व्यवसाय और भी अधिक तेज हो जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा - जीएसटी लागू होने के बाद देश की जीडीपी में दो प्रतिशत तक उछाल आने की उम्मीद है। छत्तीसगढ़ को भी निश्चित रूप से इसका लाभ मिलेगा। डॉ. रमन सिंह ने यह भी कहा कि इस नयी कर व्यवस्था में आम जनता से लेकर बड़े व्यापारियों और उद्योगपतियों सहित सभी के हितों का ख्याल रखा गया है। इस नए कानून से देश में टैक्स चोरी पर प्रभावी अंकुश लगेगा और सरकार के पास ज्यादा राजस्व आएगा। इसके फलस्वरूप देश और प्रदेश के विकास को गति मिलेगी।

   क्रमांक-1398/स्वराज्य

रमन सरकार का एक बड़ा फैसला: हर जिला मुख्यालय में एक सप्ताह के भीतर खोले जाएंगे किसान मितान केन्द्र

एक छत के नीचे किसानों की समस्याओं का होगा समुचित निराकरण

खेती-किसानी से संबंधित जानकारी भी दी जाएगी

समस्या निराकरण के लिए होगी किसानों की काउंसिलिंग

 
    रायपुर, 30 जून 2017

किसानों को एक ही छत के नीचे खेती से संबंधित विभिन्न योजनाओं की जानकारी देने और उनकी समस्याओं के समुचित निराकरण के लिए मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह के नेतृत्व में प्रदेश सरकार ने किसान मितान केन्द्रों की स्थापना का निर्णय लिया है। इनकी स्थापना एक सप्ताह के भीतर कर दी जाएगी। मुख्यमंत्री के निर्देश पर किसानों की समस्याओं को जानने और समझकर उचित समाधान करने और उन्हें सलाह देने के लिए राज्य के सभी 27 जिलों में जिला मुख्यालयों के स्तर पर किसान मितान केन्द्र बनाए जाएंगे।
राजस्व और आपदा प्रबंधन विभाग ने आज यहां मंत्रालय (महानदी भवन) से सभी संभागीय आयुक्तों और जिला कलेक्टरों को इस आशय का परिपत्र जारी कर दिया। राजस्व और आपदा प्रबंधन मंत्री श्री प्रेमप्रकाश पाण्डेय ने विभागीय अधिकारियों से कहा है कि मुख्यमंत्री के आदेश पर तत्परता से अमल किया जाए। परिपत्र में इन अधिकारियों से कहा गया है कि एक सप्ताह के भीतर इन केन्द्रों की स्थापना कर ली जाए। संभागीय आयुक्त अपने राजस्व संभाग के जिलों में इन केन्द्रों की स्थापना की कार्रवाई समय-सीमा में सुनिश्चित करेंगे।  राजस्व और आपदा प्रबंधन मंत्री श्री पाण्डेय ने कहा कि यह रमन सरकार का अत्यंत महत्वपूर्ण किसान हितैषी निर्णय है। विभाग द्वारा जारी परिपत्र में कहा गया है कि सभी जिला मुख्यालयों में किसान मितान केन्द्र बनाया जाए, जो एक कंट्रोल रूम के रूप में होगा। इसके लिए अलग से टोल-फ्री नम्बर लिया जाएगा। जब तक टोल-फ्री नम्बर प्राप्त नहीं हो जाता, तब तक जिला कार्यालय (कलेक्टोरेट) के ही एक टेलीफोन नम्बर को चिन्हांकित कर किसान मितान केन्द्र (कंट्रोल रूम) शुरू किया जाए।
परिपत्र के अनुसार  किसान मितान केन्द्र के संचालन के लिए स्थल चयन जिला कलेक्टर द्वारा किया जाएगा। किसान मितान केन्द्रों में राजस्व, कृषि, सहकारिता, ग्रामीण विकास, ऊर्जा और जल संसाधन विभाग सहित सहकारी बैंक आदि के अधिकारियों की ड्यूटी लगाई जाएगी। किसान मितान केन्द्रों में टेलीफोन के माध्यम से अथवा व्यक्तिगत रूप से आकर जानकारी चाहने वाले किसानों की काउंसलिंग की जाएगी। परिपत्र में अधिकारियों से कहा गया है कि वे इन केन्द्रों में किसानों की समस्याओं को धैर्य के साथ सुनें और उन्हें शासन द्वारा संचालित योजनाओं की जानकारी दें। इसके साथ ही किसानों को उपलब्ध योजनाओं के आधार पर उनकी समस्याओं के निराकरण के लिए आश्वस्त करते हुए जल्द से जल्द आवश्यक कार्रवाई की जाए।
अधिकारियों को यह भी निर्देश दिए गए हैं कि वे इन केन्द्रों में संबंधित किसानों और उनकी समस्याओं का रिकॉर्ड भी रखें और उनकी समस्याओं की जानकारी संबंधित विभाग के जिला स्तर के प्रमुख अधिकारी को भेंजे। अगर यह पाया जाता है कि किसी समस्या का निराकरण उपलब्ध योजनाओं के माध्यम से संभव नहीं है, तो इस प्रकार की समस्याओं की जानकारी जिला कलेक्टर द्वारा शासन के संबंधित विभाग को तत्काल भेजी जाए। शासन स्तर पर संबंधित विभाग के सचिव द्वारा ऐसी समस्याओं के निराकरण के लिए उचित निर्णय लिया जाएगा। परिपत्र में कहा गया है कि राज्य सरकार विभिन्न विकास और कल्याण योजनाओं के माध्यम से प्रदेश के सभी वर्गों की समस्याओं के समाधान के लिए कृत संकल्पित है, लेकिन कभी-कभी जानकारी के अभाव में अकारण भटकाव, भ्रम अथवा संशय की स्थिति निर्मित होने पर विशेष रूप से किसान परेशानी का  अनुभव करते हैं। मानसून के आने के बाद किसान खेती से संबंधित कार्यों में संलग्न हो गए हैं। इसलिए उन्हें प्रासंगिक जानकारी एक ही छत के नीचे त्वरित प्राप्त हो सके। इसके लिए संबंधित विभागों के मैदानी अधिकारियों की सक्रिय भूमिका अपेक्षित है। इसी उद्देश्य से यह निर्णय लिया गया है।
परिपत्र में यह भी बताया गया है कि राज्य सरकार के कृषि विभाग द्वारा आत्मा योजना के तहत प्रत्येक दो गांवों के बीच एक किसान संगवारी (किसान मित्र) नामांकित किया गया है। किसान हितैषी सरकारी योजनाओं और सुविधाओं की जानकारी किसानों तक पहुंचाने के लिए किसान संगवारियों का भी सहयोग लिया जा सकता है। परिपत्र में संभागीय आयुक्तों और जिला कलेक्टरों को विकासखण्ड और जिला स्तर पर किसान संगवारियों का सम्मेलन अथवा उनकी बैठक आयोजित करने के भी निर्देश दिए गए हैं, ताकि उन्हें वहां दी जाने वाली जानकारी के आधार पर वे किसानों को उचित समझाइश देकर उनकी प्रभावी मदद कर सकें।
 
   क्रमांक-1395/स्वराज्य

केन्द्रीय मंत्री श्री गेहलोत आज रायपुर आएंगे

    रायपुर, 30 जून 2017

केन्द्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री श्री थावरचंद गेहलोत कल एक जुलाई को रायपुर आ रहे हैं। श्री गेहलोत नई दिल्ली से दोपहर एक बजे नियमित विमान द्वारा रवाना होकर 2.35 बजे यहां माना स्थित स्वामी विवेकानंद विमानतल पहुंचेंगे। श्री गेहलोत शाम 4.30 बजे मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह के साथ स्थानीय एमएआईसी कॉलेज के सभागृह में इंस्टीट्यूट ऑफ चार्टर्ड एकांउटें्टस के कार्यक्रम में शामिल होंगे। श्री गेहलोत रात्रि विश्राम रायपुर में करेंगे। वे अगले दिन दो जुलाई को सवेरे 7.45 बजे यहां से नियमित विमान द्वारा नई दिल्ली रवाना होंगे।  

   क्रमांक-1402/स्वराज्य

दिव्यांग विद्यार्थियों के लिए छात्रवृत्ति की नयी दरें घोषित : समाज कल्याण विभाग ने जारी किया आदेश

   रायपुर, 30 जून 2017

 राज्य सरकार ने दिव्यांग जनों के लिए छात्रवृत्ति योजना जारी कर दी है। इसमें छात्रवृत्ति की नयी दरें निर्धारित की गई हैं। राज्य शासन द्वारा संचालित दिव्यांग छात्रवृत्ति कक्षा पहली से बारहवीं तक के नियमित विद्यार्थियों को मिलेगी। केन्द्रीय दिव्यांगजन छात्रवृत्ति के अंतर्गत प्री मेट्रिक छात्रवृत्ति 9वीं और 10वीं के विद्यार्थियों को दी जाएगी, जबकि पोस्ट मेट्रिक छात्रवृत्ति 11वीं और 12वीं कक्षा के दिव्यांग विद्यार्थियों को सभी पोस्ट मेट्रिक स्तर के पाठ्यक्रमों में मिलेगी। औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान (आईटीआई) सहित पॉलिटेक्निक में तीन वर्ष के डिप्लोमा पाठ्यक्रम, चिकित्सा, तकनीकी शिक्षा के स्नातक पाठ्यक्रम, स्नातक स्तर के व्यासायिक पाठ्यक्रम, कला, वाणिज्य और विज्ञान के नियमित दिव्यांग विद्यार्थियों को भी पोस्ट मेट्रिक छात्रवृत्ति दी जाएगी।
मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने दिव्यांग छात्र-छात्राओं के लिए छात्रवृत्ति की नयी दरों के निर्धारण पर खुशी प्रकट है और उम्मीद जताई है कि अधिक से अधिक दिव्यांग विद्यार्थियों को इसका लाभ मिलेगा। समाज कल्याण मंत्री श्रीमती रमशीला साहू ने विभागीय अधिकारियों को इस दिशा में आवश्यक कार्रवाई जल्द शुरू करने के निर्देश दिए हैं। समाज कल्याण विभाग के सचिव श्री सोनमणि बोरा ने आज यहां बताया कि विभाग द्वारा सभी संबंधित अधिकारियों को परिपत्र के रूप में आदेश जारी  कर दिया गया है। यह परिपत्र प्रदेश के सभी जिला कलेक्टरों, जिला पंचायतों के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों, समाज कल्याण विभाग के संयुक्त संचालकों और उप संचालकों, सभी जिला शिक्षा अधिकारियों, आदिम जाति विकास विभाग के सहायक आयुक्तों और प्रदेश के सभी नगर निगमों के आयुक्तों और नगर पालिका तथा नगर पंचायतों के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को जारी किया गया है।
परिपत्र में दिए गए निर्देशों के अनुसार छत्तीसगढ़ निवासी 40 प्रतिशत या उससे अधिक दिव्यांगता वाले विद्यार्थी, जो विगत परीक्षा में उत्तीर्ण हो चुके हों, उन्हें इन छात्रवृत्ति योजनाओं का लाभ मिलेगा। प्री-मैट्रिक छात्रवृत्ति के लिए आवेदक के अभिभावक की अधिकतम वार्षिक आमदनी दो लाख रूपए और पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति के लिए आवेदक के अभिभावक की अधिकतम वार्षिक आमदनी ढाई लाख रूपए होगी। पूर्व माध्यमिक स्तर की छात्रवृत्ति के लिए कोई आमदनी सीमा निर्धारित नहीं की गई है। राज्य शासन द्वारा अथवा केन्द्रीय योजनाओं के लिए केन्द्र सरकार द्वारा छात्रवृत्ति एवं भत्ते की दरें समय-समय पर प्रशासकीय आदेशों के द्वारा निर्धारित की जाएगी। वर्तमान में दिव्यांग विद्यार्थियों के लिए राज्य शासन द्वारा संचालित छात्रवृत्ति योजना में प्राथमिक स्तर पर कक्षा पहली से पांचवीं तक 100 रूपए छात्रवृत्ति और 50 रूपए संधारण भत्ता मिलाकर कुल 150 रूपए हर महीने दिए जाएंगे। पूर्व माध्यमिक स्तर पर कक्षा 6वीं से 8वीं तक 120 रूपए की छात्रवृत्ति और 50 रूपए संधारण भत्ता मिलाकर 170 रूपए मासिक दिए जाएंगे। केन्द्रीय दिव्यांगजन छात्रवृत्ति के अंतर्गत भारत सरकार द्वारा विद्यार्थियों को सीधे प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (डीबीटी) के माध्यम से राशि उनके बैंक खातों में जमा की जाएगी। इसके अंतर्गत कक्षा 9वीं से 12वीं तक विद्यार्थियों को राज्य की दिव्यांगजन छात्रवृत्ति योजना से अतिरिक्त छात्रवृत्ति दी जाएगी, जो राज्य की दिव्यांगजन छात्रवृत्ति योजना के मद से जारी होगी। केन्द्रीय योजना के तहत प्री-मेट्रिक दिव्यांग छात्रवृत्ति के अंतर्गत प्रत्येक विद्यार्थी को हर महीने केन्द्रीय सहायता के रूप में 350 रूपए और राज्य योजना से 190 रूपए इस प्रकार 540 रूपए मिलेंगे। छात्रावास में रहने वाले अंतःवासी विद्यार्थी को केन्द्रीय सहायता मद से 600 रूपए और राज्य योजना से 190 रूपए, इस प्रकार 790 रूपए मासिक छात्रवृत्ति मिलेगी। पुस्तक और तदर्थ अनुदान 750 रूपए वार्षिक होगा। अंतःवासी विद्यार्थी को इस मद में एक हजार रूपए हर महीने दिए जाएंगे। दृष्टि बाधित विद्यार्थियों को केन्द्र से 160 रूपए और राज्य से 100 रूपए हर महीने वाचक भत्ता भी मिलेगा। ऐसे दिव्यांग विद्यार्थी जो छात्रावास में नहीं रहते, उन्हें 160 रूपए मासिक परिवहन भत्ता दिया जाएगा। गंभीर दिव्यांग अर्थात 80 प्रतिशत या उससे ज्यादा दिव्यांगता वाले दैनिक विद्यार्थियों को हर महीने 160 रूपए मासिक अनुरक्षक भत्ता दिया जाएगा। छात्रावासों में निवासरत, गंभीर अस्थि बाधित विद्यार्थियों को जिन्हें सहायता की जरूरत है, उनकों सहयोग प्रदान करने के लिए किसी सहायक को रखने पर 160 रूपए मासिक सहायक भत्ता दिया जाएगा। मानसिक रूप से अविकसित और मनोरोगी विद्यार्थियों को मासिक 240 रूपए का कोचिंग भत्ता भी मिलेगा।
समाज कल्याण सचिव श्री बोरा ने बताया कि केन्द्रीय योजना के तहत पोस्ट मेट्रिक छात्रवृत्ति सम्पूर्ण पाठ्यक्रम अवधि में दी जाएगी। इसमें रखरखाव भत्ता, चिकित्सा और तकनीकी शिक्षा के स्नातक पाठ्यक्रमों में अंतःवासी छात्रों के लिए 1200 रूपए और अन्य (दैनिक) के लिए 550 रूपए मासिक होगा। व्यवसायिक पाठ्यक्रमों के अंतर्गत स्नातक, डिप्लोमा सर्टिफिकेट, बीफार्मा, एलएलबी, बीएफएस, पैरा मेडिकल आदि पाठ्यक्रमों में दैनिक छात्रों के लिए हर महीने 530 रूपए और छात्रावासों में रहने वाले विद्यार्थियों के लिए हर महीने 820 रूपए रखरखाव भत्ता दिया जाएगा। पोस्ट मेट्रिक स्तर के पाठ्यक्रमों में, जिनमें प्रवेश के लिए न्यूनतम योग्यता हाई स्कूल पास निर्धारित है, जैसे आईटीआई पॉलिटेक्निक आदि, उनमें दिव्यांग विद्यार्थियों को छात्रावास में रहने पर 380 रूपए और गैर छात्रावासी होने पर 230 रूपए का मासिक रखरखाव भत्ता मिलेगा। यह भत्ता 11वीं और 12वीं के विद्यार्थियों को छात्रावासी होने पर 190 रूपए और गैर छात्रावासी होने पर भी 190 रूपए राज्य योजना से हर महीने दिया जाएगा। पोस्ट मेट्रिक छात्रवृत्ति योजना में दृष्टि बाधित विद्यार्थियों को मासिक 240 रूपए का वाचक भत्ता सभी पाठ्यक्रमों के लिए मिलेगा। गैर छात्रावासी दिव्यांग छात्र-छात्राओं को हर महीने 160 रूपए का परिवहन भत्ता दिया जाएगा। समाज कल्याण विभाग के 19 जून के इस परिपत्र में छात्रवृत्ति और भत्तों के दरों के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई है। इसमें यह भी बताया गया है कि छात्रवृत्ति के लिए ऑनलाईन आवेदन करना होगा। केन्द्रीय छात्रवृत्ति के लिए ऑनलाईन आवेदन का प्रारूप नेशनल ई-स्कॉलरशिप पोर्टल में और राज्य छात्रवृत्ति के लिए छत्तीसगढ़ सरकार की वेबसाइट डब्ल्यूडब्ल्यूडब्ल्यूडॉटएसडब्ल्यूडॉटसीजीडॉटजीओवीडॉटइन (www.sw.cg.gov.in) पर उपलब्ध है। इसमें विद्यार्थियों को एक आईडी मिलेगी, जो सम्पूर्ण शैक्षणिक अवधि के लिए मान्य होगी। आवेदन का हर साल नवीनिकरण किया जाएगा। कक्षा 9वीं और उससे उपर की कक्षाओं के विद्यार्थियों को राज्य की अतिरिक्त सहायता के लिए अलग से आवेदन करने की जरूरत नहीं होगी। केन्द्रीय छात्रवृत्ति के आवेदन पत्र पर ही इसे स्वतः आवेदित माना जाएगा। ऑनलाईन आवेदन नहीं कर पाने की स्थिति में आवश्यक अभिलेखों के साथ दिव्यांग विद्यार्थी अपनी शैक्षणिक संस्था में ऑफ लाईन आवेदन प्रस्तुत कर सकते हैं। संस्था प्रमुख प्रधान अध्यापक अथवा प्राचार्य का यह दायित्व होगा कि वे उनके ऑफ लाईन आवेदनों पर ऑनलाईन प्रविष्टि करें।
 
   क्रमांक-1397/स्वराज्य

मुख्य सचिव की अध्यक्षता में वीडियो कॉन्फ्रेसिंग संभागीय आयुक्तों और कलेक्टरों की बैठक

 खाद-बीज के भण्डारण-वितरण, लोक सेवा केन्द्रों और आंगनबाड़ी केन्द्रों की समीक्षा
    रायपुर, 30 जून 2017
मुख्य सचिव श्री विवेक ढांड ने आज शाम यहां मंत्रालय (महानदी भवन) में वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के जरिए सभी संभाग के आयुक्त और जिला कलेक्टरों की बैठक ली। बैठक में उन्होंने खरीफ वर्ष 2017 के लिए खाद-बीज के भण्डारण एवं उसके वितरण, लोक सेवा केन्द्रों में प्राप्त आवेदनों के निराकरण, आंगनबाड़ी केन्द्र एंव मिनी आंगनबाड़ी केन्द्रों की समीक्षा की।
उन्होंने किसान मितान केन्द्र की स्थापना के लिए सभी व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि खरीफ फसल के लिए खाद-बीज का वितरण किसानों को उपलब्ध हो इसका विशेष ध्यान रखा जाए। उन्होंने रबी एवं खरीफ फसलों के बाद मिट्टी परीक्षण के लिए नमूनों की जांच एवं स्वायल हेल्थ कार्ड का वितरण समय पर कराने के निर्देश भी दिए। उन्होंने कहा कि मिट्टी नमूने की जांच एवं स्वायल हेल्थ कार्ड के वितरण की डेटा एंट्री भी अनिवार्य रूप से कराई जाए। उन्होंने कहा कि फसल बीमा योजना के अंतर्गत गठित जिला निगरानी एवं सतर्कता समिति की बैठक आयोजित कर मानिटरिंग सतत रूप से की जाए। उन्होंने लोक सेवा केन्द्रों में प्राप्त होने वाले आवेदनों का निराकरण निर्धारित समयवधि में कराने के निर्देश भी दिए। समीक्षा बैठक में उन्होंने आंगनबाड़ी/मिनी आंगनबाड़ी केन्द्रों की समीक्षा करते हुए कहा कि बच्चों के वजन त्यौहार के अवसर पर सभी बच्चों का वजन लिया जाए। इसके लिए आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को आवश्यक दिशा-निर्देश भी दिए जाएं।
बैठक में कृषि विभाग के अपर मुख्य सचिव श्री अजय सिंह, सचिव सामान्य प्रशासन विभाग श्री विकासशील, सचिव महिला एवं बाल विकास डॉ. एम. गीता, संयुक्त सचिव जनसम्पर्क श्री राजेश सुकुमार टोप्पो, मुख्य कार्यपालन अधिकारी चिप्स एलेक्स पॉल मेनन सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

   क्रमांक-1400/सुदेश

रायपुर : सामर्थ्य विकास योजना अंतर्गत 1,486 हितग्राहियों को कृत्रिम अंग व सहायता उपकरण प्रदान किए गए

रायपुर, 30 जून 2017

राज्य शासन के समाज कल्याण विभाग द्वारा सामर्थ्य विकास योजना के अंतर्गत पिछले वित्तीय वर्ष 2016-17 में दिसम्बर 2016 तक 1,486 हितग्राहियों को कृत्रिम अंग एवं सहायक उपकरण प्रदान किये गये है। सामर्थ्य विकास योजना अंतर्गत प्रदेश के निशक्त हितग्राहियों को उपयुक्त टिकाऊ, वैज्ञानिक रूप से तैयार आधुनिक एवं मानकीकृत सहायक यंत्र एवं उपकरण शिविर आयोजित कर प्रदान किये जाते हैं। योजना का उद्देश्य निशक्तजनों का प्रमाणिकरण करना, गतिशीलतता बढ़ाना एवं उनका आर्थिक-सामाजिक, व्यवसायिक पुर्नवास करना है। 

   क्रमांक-1394/चित्ररेखा

रायपुर : सुगम्य भारत अभियान अंतर्गत 57 शासकीय, अशासकीय भवनों को चिन्हांकित किया गया

रायपुर, 30 जून 2017

राज्य शासन के समाज कल्याण विभाग द्वारा सुगम्य भारत अभियान अंतर्गत 57 शासकीय एवं अशासकीय भवनों को बाधारहित करने हेतु चिन्हांकित किया गया है। जिसमें 25 शासकीय तथा 32 अशासकीय भवन है। निःशक्त व्यक्ति (समान अवसर, अधिकारों का संरक्षण एवं पूर्ण भागीदारी) अधिनियम 1995 के अनुसार दिव्यांगजनों को बाधारहित सुविधा उपलब्ध कराने के लिए ऐसे शासकीय भवन जहां निशक्तजनों का आवागमन अधिक है। उन्हें बाधारहित करने के लिए राशि उपलब्ध करायी जाती है। योजना अंतर्गत पुराने शासकीय भवनों में निशक्तजनों की सुविधा अनुसार लिफ्ट, रैम्प साईन बोर्ड, रेलिंग, शौचालय, चेक टाइल्स आदि का निर्माण किया जाता है।    

क्रमांक-1393/चित्ररेखा

रायपुर : विभागीय बीएड के लिए चयन सूची जारी प्रवेश की अंतिम तिथि 5 जुलाई

रायपुर, 30 जून 2017

राज्य शैक्षणिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण संस्थान ने वर्ष 2017-18 में बीएड में प्रवेश के लिए विभागीय शिक्षकों की चयन सूची जारी कर दी है। इसमें पंचायत विभाग के व्याख्याता, पंचायत संवर्ग से 12, आदिम जाति तथा अनुसूचित जाति विकास विभाग से अधीन कार्यरत प्रधान पाठक, उच्च श्रेणी व निम्न श्रेणी शिक्षक से 12 शिक्षकों का, पंचायत विभाग के शिक्षक पंचायत संवर्ग कोटा से 10, स्कूल शिक्षा विभाग के व्याख्याता संवर्ग कोटा से 14 तथा प्रधान पाठक, उच्च श्रेणी शिक्षक व निम्न श्रेणी शिक्षक कोटा से 13 और आदिम जाति तथा अनुजाति विकास विभाग के अधीन कार्यरत व्याख्याता संवर्ग कोटा से 14 शिक्षकों का चयन किया गया है। चयनित शिक्षकांे को निर्धारित शुल्क 7 हजार रूपए के बैंक ड्राफ्ट के साथ शैक्षणिक दस्तावेज के मूल प्रमाण पत्रों के साथ उनकी एक सत्य प्रतिलिपि,  स्थायी जाति प्रमाण पत्र तथा स्कूल से कार्यमुक्त आदेश और पासपोर्ट साइज की फोटो, बैंक पास बुक के साथ 5 जुलाई तक शासकीय शिक्षक शिक्षा महाविद्यालय शंकर नगर रायपुर में उपस्थित होने कहा गया है। 

   क्रमांक-1392/कोसरिया

रायपुर : छत्तीसगढ़ राज्य ओपन स्कूल परीक्षा के लिए आवेदन 15 जुलाई तक

रायपुर, 30 जून 2017

कक्षा दसवीं-बारहवीं ओपन स्कूल परीक्षा के लिए आवेदन की प्रक्रिया चल रही है। इसके लिए आवेदन जमा करने की अंतिम तिथि 15 जुलाई तक निर्धारित है। ओपन स्कूल या अन्य बोर्ड अनुतीर्ण होने वाले विद्यार्थी इसके लिए आवेदन कर सकते हैं। ओपन स्कूल की यह परीक्षा सितम्बर में होगी।
विभागीय अधिकारियों ने बताया कि मुख्य परीक्षा का फार्म जिस अध्ययन केन्द्र से भरा गया है, वहीं से अवसर परीक्षा का फार्म भी भरा जाए। अन्यथा फार्म निरस्त कर दिया जाएगा। यदि कोई भी छात्र विषय परिवर्तन चाहता है, तो अवसर परीक्षा फार्म के साथ विषय परिवर्तन फार्म भी जमा करना होगा। विषय परिवर्तन का आवेदन नेट पर उपलब्ध है। यह परीक्षा मुख्य परीक्षा दिसम्बर 2013 के छात्रों के लिए अंतिम नवम अवसर परीक्षा होगी।

   क्रमांक-1391/कोसरिया

छत्तीसगढ़ के लगभग 75 हजार निर्वाचित जनप्रतिनिधियों ने किया राजधानी का अध्ययन भ्रमण : हमर छत्तीसगढ़ योजना का एक वर्ष पूर्ण



 मुख्यमंत्री अध्ययन भ्रमण पर आए पंचायत प्रतिनिधियों से आज करेंगे मुलाकात

रायपुर. 30 जून 2017
 राज्य शासन के हमर छत्तीसगढ़ योजना के तहत पहले साल प्रदेश के करीब 75 हजार निर्वाचित जनप्रतिनिधियों ने रायपुर और नया रायपुर का अध्ययन भ्रमण किया। इनमें ग्राम पंचायतों और नगर पंचायतों के लगभग 69 हजार प्रतिनिधि तथा सहकारिता क्षेत्र के छह हजार प्रतिनिधि शामिल हैं। मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह कल 01 जुलाई को योजना के एक वर्ष पूर्ण होने पर योजना के आवासीय परिसर नया रायपुर के उपरवारा स्थित होटल प्रबंधन संस्थान में अध्ययन भ्रमण पर आए सरगुजा, सूरजपुर, बलरामपुर-रामानुजगंज, जशपुर और रायगढ़ जिले के पंच-सरपंचों से शाम सात बजे मुलाकात करेंगे।
      देश भर में चर्चित हमर छत्तीसगढ़ योजना को देखने कई राज्यों के मंत्री और वरिष्ठ अधिकारी आ चुके हैं। इनमें बिहार के तत्कालीन राज्यपाल श्री रामनाथ कोविंद और झारखंड विधानसभा के अध्यक्ष सहित राजस्थान, जम्मू-कश्मीर, उत्तरप्रदेश और हरियाणा के मंत्री शामिल हैं। विगत 01 नवम्बर को राज्योत्सव का शुभारंभ करने आए प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने उस दौरान अध्ययन भ्रमण पर आए पंचायत प्रतिनिधियों से मुलाकात की थी। उन्होंने योजना को काफी सराहा भी था। भारत सरकार के पंचायतीराज एवं ग्रामीण विकास मंत्रालय सहित अनेक मंत्रालयों के अधिकारी भी योजना को जानने-समझने आवासीय परिसर पहुंचे हैं।
      गांवों और कस्बों के निर्वाचित जनप्रतिनिधियों के अध्ययन, शिक्षण-प्रशिक्षण और उनका अनुभव संसार समृद्ध करने के उद्देश्य से इस अनूठी योजना की शुरूआत पिछले वर्ष 01 जुलाई को की गई थी। योजना के अंतर्गत पंचायत प्रतिनिधियों को छत्तीसगढ़ में पिछले डेढ़ दशक में हुए विकास कार्यों, कृषि और विज्ञान के क्षेत्र में हो रही नित नई प्रगति एवं प्रदेश की संस्कृति व कला सहित शासकीय योजनाओं के बारे में जानकारी दी जाती है। विगत एक वर्ष में छत्तीसगढ़ के सभी 27 जिलों और 146 विकासखंडों के पंचायत प्रतिनिधि दो दिनों के अध्ययन भ्रमण पर राजधानी रायपुर आए। इनमें हजारों की संख्या में बस्तर और सरगुजा जैसे सुदूर वनांचलों के जनप्रतिनिधि शामिल थे, जिन्हें इस योजना की बदौलत पहली बार राजधानी देखने का मौका मिला। यह सिलसिला आगामी एक वर्ष यानि 30 जून 2018 तक और तक जारी रहेगा। सहकारी संस्थाओं के प्रतिनिधियों को भी 02 अक्टूबर 2016 से इस योजना से जोड़ा गया है।
      अध्ययन भ्रमण पर आने वाले पंचायत प्रतिनिधि अपने गांव की मिट्टी, पानी और वहां पाए जाने वाले विशेष प्रजाति का पौधा लेकर आते हैं। इसे वे नया रायपुर में लगाते हैं। इस तरह राजधानी नया रायपुर से प्रदेश का हर गांव जुड़ रहा है। दो दिनों के अध्ययन प्रवास के दौरान पंच-सरपंचों को जंगल सफारी, मंत्रालय, विधानसभा, इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय, साइंस सेंटर, ऊर्जा पार्क, शहीद वीर नारायण सिंह अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम, फाइव-डी इमर्सिव डोम, माना विमानतल एवं पुरखौती मुक्तांगन का भ्रमण कराया जाता है। पुरखौती मुक्तांगन में लाइट एंड साउंड शो के जरिए उन्हें छत्तीसगढ़ से जुड़े पौराणिक आख्यानों, इतिहास, पुरातत्व, संस्कृति, छत्तीसगढ़ के अलग राज्य बनने की कहानी के साथ ही प्रदेश की उपलब्धियों एवं योजनाओं की जानकारी दी जाती है।
      भ्रमण के साथ ही पंचायत प्रतिनिधियों के लिए आवासीय परिसर में प्रशिक्षण एवं सामूहिक चर्चा का आयोजन किया जाता है। इसमें वे विकास कार्यों और योजनाओं के क्रियान्वयन संबंधी अपने अनुभव साझा करते हैं। स्वच्छता एवं विधिक संबंधी जागरूकता के लिए भी यहां नियमित कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। भ्रमण पर आने वाले पंचायत प्रतिनिधियों को योगाभ्यास भी कराया जाता है। योग प्रशिक्षक की देखरेख में वे विभिन्न आसनों का अभ्यास करते हैं। साथ ही उन्हें स्वस्थ और प्रसन्न रहने के गुर भी बताए जाते हैं।
क्रमांक-1396/कमलेश

रायपुर : स्वास्थ्य मंत्री श्री अजय चन्द्राकर की अध्यक्षता में शासकीय मेडिकल कॉलेजों की स्वशासी समिति की बैठक : जनहित के मुद्दों पर तत्परता से कार्य करने अधिकारियों को दिए निर्देश

रायपुर, 30 जून 2017


स्वास्थ्य, परिवार कल्याण और चिकित्सा शिक्षा मंत्री श्री अजय चन्द्राकर की अध्यक्षता में आज यहां उनके निवास कार्यालय में  शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय राजनांदगांव और छत्तीसगढ़ आयुर्विज्ञान संस्थान(सिम्स) बिलासपुर की स्वशासी समितियों की बैठक हुई। श्री चन्द्राकर ने चिकित्सा सेवा में जनहित के मुद्दों पर तत्परता के साथ कार्य करने अधिकारियों को निर्देश दिए। उन्हांेने मौसमी और जलजनित बीमारियों को ध्यान में रखते हुए इलाज के पुख्ता इंतजाम करने के निर्देश दिए। श्री चन्द्राकर ने उपस्थित दोनों मेडिकल कॉलेज के अधिष्ठाताओं से कहा कि कॉलेजों में समस्याओं और जरूरतों को केन्द्र में रखकर मरीजों को जल्द से जल्द स्वास्थ्य सेवाएं मिले इसका विशेष ध्यान रखा जाए। उन्हांेने प्रदेश के सभी शासकीय मेडिकल कॉलेज संस्थानों को नियमित अंकेक्षण कराने के भी निर्देश दिए। बैठक मंे स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख सचिव श्री सुब्रत साहू, आयुक्त श्री आर. प्रसन्ना, राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन की संचालक श्रीमती रानू साहू सहित मेडिकल कॉलेजों के अधिष्ठाता और अधिकक्षक उपस्थित थे।
श्री चन्द्राकर ने छत्तीसगढ़ आयुर्विज्ञान संस्थान(सिम्स्) बिलासपुर की स्वशासी समिति के कार्यों की भी समीक्षा की। अधिकारियों ने मेडिकल अस्पताल में मानव संसाधन और चिकित्सा उपकरणों की आवश्यकता के संबंध में विस्तार से जानकारी दी। श्री चन्द्राकर ने शासन के नियमों के अनुरूप आरक्षण नियम का पालने करते हुए सेट-अप तैयार कर मानव संसाधन को मजबूत करने पर बल दिया। उन्हांेने कहा कि चिकित्सा सेवा मानव के संवदेना से जुड़ी होती है। अतः स्वास्थ्य सेवाओं के लिए उपयोग में आने वाली  चिकित्सा उपकरण और दवाईयां गुणवत्ता पूर्ण होना चाहिए। बैठक में सिम्स के पास उपलब्ध दुकानों का सामाजिक हित के व्यवसायों में उपयोग करने का निर्णय लिया गया। आम नागरिकों के लिए सस्ते दर पर भोजन और नास्ता उपलब्ध हो इसके लिए कैंटिन शुरू करने पर भी चर्चा की गई। सिम्स् में पुराने भवन में ट्रामा केयर सेन्टर स्थापित करने का भी सुझाव अधिकारियों ने दिया।
स्वास्थ्य मंत्री ने शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय राजनांदगांव के स्वशासी समिति के कार्यों की प्रगति की जानकारी प्राप्त की। अधिकारियों ने बताया कि महाविद्यालय को एमबीबीएस में 100 सीटों के लिए प्रवेश की अनुमति  इस वर्ष भी प्राप्त हो गई है। मेडिकल कौंसिल ऑफ इंडिया में, पंचम संत्र 2018-19 में एम.बी.बी.एस. में प्रवेश के अनुमति के लिए प्रक्रिया जारी है। चिकित्सालय मंे ओ.पी.डी. में मरीजों की संख्या प्रतिदिन 750 से 850 के लगभग होती है। इसके अतिरिक्त केजुअल्टी में भी मरीजों की जांच और उपचार किया जा रहा है। श्री चन्द्राकर ने मेडिकल कॉलेज में प्रर्याप्त मानव संसाधन, चिकित्सा उपकरण और दवाईयों की उपलब्ध सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।     

क्रमांक-1390/ओम

रायपुर : बालोद जिले में पांच पुलों के लिए 6.60 करोड़ मंजूर

रायपुर, 30 जून 2017

राज्य शासन द्वारा बालोद जिले में चालू वर्ष 2017-18 के अंतर्गत पांच पुलों के निर्माण की मंजूरी दी गई है। इन पुलों का निर्माण लोक निर्माण विभाग द्वारा स्वीकृत छह करोड़ 60 लाख रूपए की राशि से किया जाएगा। इसके तहत बालोद जिले के घोटिया से गांधीपारा मार्ग पर स्थित सूखा नाला में पुल निर्माण के लिए एक करोड़ पांच लाख रूपए की राशि स्वीकृत है। इसी तरह कंवर-गंगोरीपार-भोथली-बासीन मार्ग पर स्थित चोरहा नाला में और मुख्य मार्ग से चंदनबिरही मार्ग में पुल निर्माण के लिए डेढ़-डेढ़ करोड़ रूपए की मंजूरी दी गई है। इसके अलावा पिकरीपार से अरमरी खुर्द मार्ग में एक करोड़ पांच लाख रूपए और बासीन-गंगोरीपार मार्ग पर स्थित बासीन नाला पर एक करोड़ 50 लाख रूपए की राशि से पुल का निर्माण किया जाएगा। 

   क्रमांक-1388/प्रेमलाल

कबीरधाम जिले में 20 करोड़ की 10 ग्रामीण सड़कें मंजूर

रायपुर, 30 जून 2017
 
राज्य शासन द्वारा कबीरधाम (कवर्धा) जिले के ग्रामीण अंचल में बेहतर आवागमन के लिए चालू वर्ष 2017-18 के अंतर्गत 10 सड़कों के निर्माण की मंजूरी दी गई है। इसके निर्माण के लिए 19 करोड़ 95 लाख रूपए का प्रावधान रखा गया है। इन ग्रामीण सड़कों का निर्माण लोक निर्माण विभाग द्वारा किया जाएगा।
इन सड़कों में विकासखंड पंडरिया के ग्राम करपीकला से अमलडीहा तक 5 किलोमीटर सड़क निर्माण के लिए तीन करोड़ रूपए की राशि स्वीकृत है। इसी तरह विकासखंड मुख्यालय पंडरिया के महावीर चौक से नेउरगांव तक 3.2 किलोमीटर के लिए दो करोड़ रूपए, कांपादह-सरईसेत से उदका एक किलोमीटर के लिए एक करोड़ पांच लाख रूपए और मलकछरा से मझोली खन 3.50 किलोमीटर सड़क निर्माण के लिए दो करोड़ रूपए स्वीकृत किए गए हैं।
ग्राम कुंआ से गोपालपुर मार्ग 1.50 किलोमीटर निर्माण के लिए एक करोड़ पांच लाख रूपए, गैंदपुर से गातापार मार्ग 2.50 किलोमीटर के लिए एक करोड़ 80 लाख रूपए और बिरनपुर से इंदौरी मार्ग 3 किलोमीटर सड़क निर्माण के लिए एक करोड़ 80 लाख रूपए की राशि स्वीकृत है। इसी तरह गौरमाटी से उरैहा मार्ग लम्बाई 1.5 किलोमीटर निर्माण के लिए एक करोड़ पांच लाख रूपए, प्रतापपुर-भगतपुर-निंगापुर 8.60 किलोमीटर के लिए पांच करोड़ रूपए और सिंघौरी-गातापार मार्ग 2 किलोमीटर सड़क निर्माण के लिए एक करोड़ 20 लाख रूपए स्वीकृत किए गए हैं।  
 
क्रमांक-1389/प्रेमलाल

Raipur : TDS proposal from GST will not be implemented now : Registration from 20 July

Raipur, 30 June 2017 
The State Government Commercial Taxes Department officials said that Goods and Services Tax (GST) will be implemented from 1 July 2017, but TDS will not be included immediately.  According to information available at the Divisional Deputy Commercial Tax officials said that if payments of goods/ services exceed more than Rs Two lakh fifty thousand then TDS had to be deducted. But in the current scenario this proposal had not been included. The date of implementation will be announced later. The officials said that it is mandatory for the registration of State Government Departments for the deduction of TDS. The registration process will begin from 20 July 2017. This facility is available on GST network. GST Sewa Kendra had been established in every district. The representatives of various State Government departments can obtain information on phone or from the Sewa Kendras.

1386/Rajesh/Pradeep  

प्रदेश को ग्यारह नवोदय विद्यालयों की नई सौगात : मुख्यमंत्री आज करेंगे आधा दर्जन नवोदय विद्यालयों का शुभारंभ

रायपुर, 13 जुलाई 2017 प्रदेश को ग्यारह नवोदय विद्यालयों की नई सौगात मिली है।  मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह कल 14 जुलाई को बालोद जिले के प्...