कारोबारियों के लिए आयोजित कार्यशालाओं में दी गई जानकारी
रायपुर, 29 मई 2017
आगामी एक जुलाई से लागू हो रहे वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) के लिए
व्यवसायियों के जीएसटी पोर्टल पर नामांकन की प्रक्रिया जून महीने के प्रथम
पखवाड़े में फिर से शुरू हो रही है। व्यवसायी एक जून से 15 जून तक नामांकन
के लिए जरूरी औपचारिकताएं पूरी कर सकते हैं। वाणिज्यिक कर विभाग द्वारा
वस्तु एवं सेवाकर के बुनियादी प्रावधानों, नियमों, कानूनों और विभिन्न
प्रकार की प्रक्रियाओं की जानकारियां देने राजधानी रायपुर के विभिन्न
बाजारों में आयोजित कार्यशालाओं में यह जानकारी दी गई है।
विभाग द्वारा राजधानी रायपुर के थोक दवाई बाजार डुमरतराई, किराना बाजार गुढ़ियारी, छत्तीसगढ़ फेडरेशन ऑफ इण्डस्ट्रीज भनपुरी, पंडरी एवं छत्तीसगढ़ स्टील चेम्बर के साथ समता कालोनी रायपुर में कार्यशाला का आयोजन किया गया। इन कार्यशालाओं में बड़ी संख्या में व्यवसायी और उद्योगपति शामिल हुए। कार्यशालाओं में स्पष्ट किया गया है कि नये कानून में तीन रिटर्न जीएसटीआर-एक, दो और तीन वास्तव में एक ही रिटर्न के तीन भाग हैं। जीएसटीआर-1 आउटवर्ड सप्लाई (विक्रय), जीएसटीआर-2 इनवर्ड सप्लाई (क्रय) तथा जीएसटीआर-3 इन दोनों के आधार पर आउटपुट टैक्स (सप्लाई/ विक्रय पर देयकर), इनपुट टैक्स क्रेडिट एवं कर भुगतान का विवरण है। जीएसटीआर-एक ऑफ लाईन यूटिलिटी अथवा टेली साफ्टवेयर से सीधे अपलोड की जा सकती है। इसके बाद शेष दोनों रिटर्न स्वतः तैयार हो जाएगी। इस तरह रिटर्न भरने के लिए अनावश्यक कार्य बोझ बढ़ने की संभावना बिलकुल नहीं है। इसके अतिरिक्त छोटे और मंझोले व्यापारी एवं निर्माता जिनके द्वारा अंतर्राज्यीय विक्रय नहीं किया जाता एवं जिनकी वार्षिक कुल बिक्री या सप्लाई 50 लाख रूपए तक है, के लिए जीएसटी के अंतर्गत कम्पोजिशन की सुविधा का प्रावधान किया गया है। ऐसे कारोबारियों को एक प्रतिशत एवं दो प्रतिशत कुल बिक्री पर कर देना होगा एवं वे इनपुट टैक्स क्रेडिट के पात्र नहीं होंगे। इन कारोबारियों को मासिक के स्थान पर त्रैमासिक विवरण प्रस्तुत करना होगा।
अधिकारियों ने बताया कि जीएसटी कार्यशालाओं में मिल रही मूलभूत जानकारियों के कारण इनमें व्यवसायियों की उपस्थिति निरंतर बढ़ रही है। अधिकारियों ने बताया कि कार्यशालाओं में कारोबारी नये कर ढांचे में अपने व्यवसाय से संबंधित कठिनाईयों पर आधारित प्रश्न पूछ रहे हैं। मुख्य रूप से स्टॉक पर मिलने वाले इनपुट टैक्स क्रेडिट को लेकर कर दाताओं के मन में ज्यादा आशंका और भ्रम की स्थिति है, जिनका समाधान अधिकारियों द्वारा किया जा रहा है।
अधिकारियों ने बताया कि एक जून से 15 जून तक जीएसटी पोर्टल पर नामांकन की प्रक्रिया एक बार फिर शुरू हो रही है। वर्तमान अधिनियम के अंतर्गत पंजीकृत सभी कर दाताओं को एक जुलाई के पूर्व पंजीयन की प्रक्रिया पूर्ण कर एआरएन प्राप्त करना आवश्यक है। अधिकारियों ने बताया कि प्रदेश में मात्र 12.16 प्रतिशत करदाताओं द्वारा ही एआरएन जनरेट कराया जाकर नामांकन की प्रक्रिया पूर्ण की गई है। कार्यशालाओं में व्यवसायियों से पंजीयन की प्रक्रिया पूरी करने के लिए विशेष आग्रह किया जा रहा है, ताकि वे नये कर ढांचे में सुगमतापूर्वक अपना कारोबार कर सकें।
विभाग द्वारा राजधानी रायपुर के थोक दवाई बाजार डुमरतराई, किराना बाजार गुढ़ियारी, छत्तीसगढ़ फेडरेशन ऑफ इण्डस्ट्रीज भनपुरी, पंडरी एवं छत्तीसगढ़ स्टील चेम्बर के साथ समता कालोनी रायपुर में कार्यशाला का आयोजन किया गया। इन कार्यशालाओं में बड़ी संख्या में व्यवसायी और उद्योगपति शामिल हुए। कार्यशालाओं में स्पष्ट किया गया है कि नये कानून में तीन रिटर्न जीएसटीआर-एक, दो और तीन वास्तव में एक ही रिटर्न के तीन भाग हैं। जीएसटीआर-1 आउटवर्ड सप्लाई (विक्रय), जीएसटीआर-2 इनवर्ड सप्लाई (क्रय) तथा जीएसटीआर-3 इन दोनों के आधार पर आउटपुट टैक्स (सप्लाई/ विक्रय पर देयकर), इनपुट टैक्स क्रेडिट एवं कर भुगतान का विवरण है। जीएसटीआर-एक ऑफ लाईन यूटिलिटी अथवा टेली साफ्टवेयर से सीधे अपलोड की जा सकती है। इसके बाद शेष दोनों रिटर्न स्वतः तैयार हो जाएगी। इस तरह रिटर्न भरने के लिए अनावश्यक कार्य बोझ बढ़ने की संभावना बिलकुल नहीं है। इसके अतिरिक्त छोटे और मंझोले व्यापारी एवं निर्माता जिनके द्वारा अंतर्राज्यीय विक्रय नहीं किया जाता एवं जिनकी वार्षिक कुल बिक्री या सप्लाई 50 लाख रूपए तक है, के लिए जीएसटी के अंतर्गत कम्पोजिशन की सुविधा का प्रावधान किया गया है। ऐसे कारोबारियों को एक प्रतिशत एवं दो प्रतिशत कुल बिक्री पर कर देना होगा एवं वे इनपुट टैक्स क्रेडिट के पात्र नहीं होंगे। इन कारोबारियों को मासिक के स्थान पर त्रैमासिक विवरण प्रस्तुत करना होगा।
अधिकारियों ने बताया कि जीएसटी कार्यशालाओं में मिल रही मूलभूत जानकारियों के कारण इनमें व्यवसायियों की उपस्थिति निरंतर बढ़ रही है। अधिकारियों ने बताया कि कार्यशालाओं में कारोबारी नये कर ढांचे में अपने व्यवसाय से संबंधित कठिनाईयों पर आधारित प्रश्न पूछ रहे हैं। मुख्य रूप से स्टॉक पर मिलने वाले इनपुट टैक्स क्रेडिट को लेकर कर दाताओं के मन में ज्यादा आशंका और भ्रम की स्थिति है, जिनका समाधान अधिकारियों द्वारा किया जा रहा है।
अधिकारियों ने बताया कि एक जून से 15 जून तक जीएसटी पोर्टल पर नामांकन की प्रक्रिया एक बार फिर शुरू हो रही है। वर्तमान अधिनियम के अंतर्गत पंजीकृत सभी कर दाताओं को एक जुलाई के पूर्व पंजीयन की प्रक्रिया पूर्ण कर एआरएन प्राप्त करना आवश्यक है। अधिकारियों ने बताया कि प्रदेश में मात्र 12.16 प्रतिशत करदाताओं द्वारा ही एआरएन जनरेट कराया जाकर नामांकन की प्रक्रिया पूर्ण की गई है। कार्यशालाओं में व्यवसायियों से पंजीयन की प्रक्रिया पूरी करने के लिए विशेष आग्रह किया जा रहा है, ताकि वे नये कर ढांचे में सुगमतापूर्वक अपना कारोबार कर सकें।
क्रमांक-.948/राजेश