राज्य वित्त आयोग की रायपुर संभाग की बैठक में
जनप्रतिनिधियों ने दिए कई महत्वपूर्ण सुझाव
रायपुर, 23 जून 2017
छत्तीसगढ़ राज्य वित्त आयोग के अध्यक्ष श्री चंद्रशेखर साहू की अध्यक्षता में आज यहां रायपुर संभाग के स्थानीय निकायों के निर्वाचित पदाधिकारियों और शासकीय अधिकारियों की संयुक्त बैठक दो सत्रों में आयोजित की गई। आयोग द्वारा अपना प्रतिवेदन तैयार करने से पहले अपनी अनुशंसाओं के लिए उपयोगी सुझाव प्राप्त करना इस बैठक का मुख्य उद्देश्य था। आयोग के सदस्य श्री नरेशचंद्र गुप्ता भी बैठक में उपस्थित थे।
आयोग के अध्यक्ष श्री चंद्रशेखर साहू ने पंचायत प्रतिनिधियों को वित्त आयोग की कार्य प्रणाली की जानकारी दी और उनसे सुझाव मांगे। बैठक में श्री साहू ने कहा - तीन स्तरों वाली पंचायतों सहित सभी स्थानीय निकायों को ये विचार करना होगा कि करारोपण प्रणाली कैसे सुदृढ़ की जाए और कैसे करों के माध्यम से पंचायतों की आमदनी बढ़ाई जाए। उन्होंने स्थानीय निकायों की वित्तीय स्थिति मजबूत बनाने पर जोर देते हुए कहा कि निकायों को आत्मनिर्भर बनना होगा। सरकार से अनुदान पर निर्भरता विकास में बाधक बनती है, इसलिए निकाय जितने आत्मनिर्भर होंगे उतना ही ज्यादा विकास हो पाएगा। स्थानीय निकायों को विचार करना होगा कि वे अपने आय के साधन कैसे बढ़ा सकते हैं। श्री साहू ने कहा कि स्थानीय निकायों को अपने खर्चों में कटौती भी करनी होगी, जिससे वित्तीय बोझ कम हो सकंे। उन्होंने कहा कि लोगों की अपेक्षाएं बढ़ी हैं और जब अपेक्षाएं बढ़ती हैं तो अधिक धन की आवश्यकता होती है। उन्होंने राज्य की पंचायतों की प्रशंसा करते हुए कहा कि स्वच्छ भारत मिशन का लक्ष्य पूरा करने में पंचायतें अपना दायित्व बखूबी निभा रही हैं। संभाग स्तरीय बैठक में जनप्रतिनिधियों ने सुझाव भी दिये। पंचायत प्रतिनिधियों ने सुझाव देते हुए कहा कि पंचायतों को और अधिक अधिकार देने की आवश्यकता है। जनप्रतिनिधियों ने पंचायतों को विकास कार्यों के लिए सीएसआर मद की राशि दिलाने का भी सुझाव दिया। उन्होंने अधिक जनसंख्या वाली जिला जनपद और ग्राम पंचायतों में कार्यालय स्टाफ बढ़ाने की भी जरूरत बतायी।
बैठक के प्रथम सत्र में रायपुर राजस्व संभाग की 10 जिला पंचायतों के अध्यक्षों और मुख्य कार्यपालन अधिकारियों, 48 जनपद पंचायतों के अध्यक्षों और मुख्य कार्यपालन अधिकारियों तथा प्रत्येक जनपद पंचायत से दो-दो ग्राम पंचायतों के सरपंचों और पंचायत सचिवों को आमंत्रित किया गया था। दूसरे सत्र में संभाग के नगरीय निकायों के निर्वाचित पदाधिकारियों और आयुक्तों तथा मुख्य नगरपालिका अधिकारियों से चर्चा की गई।
क्रमांक -1294/नितिन